www.hamarivani.com

Tuesday, June 17, 2014

बस इतना है कहना


बहुत कुछ अनकहा है मेरे और तुम्हारे बीच
बहुत कुछ है जो कहना चाहती हूं मैं तुमसे
बताना चाहती हूं तुम्हें कि
तुम्हारे होने से ही 
मुझे अपनी धड़कनोें का एहसास होता है
तुम्हारी एक धीमी सी मुस्कारहट भी 
मुझमें नई ऊर्जा का संचार कर जाती है
तुम्हारा मुझसे ये कहना कि 
नहीं रह सकते तुम मेरे बिना
मेरे वजूद को और मजबूत बना देता है
जब कोई करता है तुम्हारी तारीफ तो
मुझे खुद पर गर्व का अनुभव होता है
जब तुम मेरा हाथ पकड़ते हो तो लगता है 
कि जीवन का हर युद्ध हैं जीत जाऊंगी
तुम्हारा साथ मुझे जेठ की दुपहरी में भी
ठंडक सा दे जाता है
तुमसे दूर होने का खयाल भी मुझे
भीड़ में तन्हा कर जाता है
तुम्हारी आंखों में चाहत की वो शिद्दत देखकर
तुम पर फना हो जाने को जी चाहता है
तुम्हारे बिना गुजारे कुछ पल भी मुझे 
सदियों से लम्बे लगते हैं और
तुम्हारे साथ बिताए कई घंटे 
मिनटों में बदल जाते हैं
अब मुझे तुमसे बस इतना है कहना
कि मुमकिन नहीं है मेरा तुम्हारे बिना रहना

18 comments:

  1. प्रेम का सुन्दर चित्रण। शब्दों से भावनाए छलक रही हैं।

    ReplyDelete
  2. Replies
    1. शुक्रिया सुशील जी

      Delete
  3. खूबसूरत आत्म अभिव्यक्ति...

    ReplyDelete
  4. बहुत खूब अनुषा जी।

    सादर

    ReplyDelete
    Replies
    1. धन्यवाद यशवंत जी

      Delete
  5. आपकी इस प्रस्तुति का लिंक 19-06-2014 को चर्चा मंच पर चर्चा - 1648 में दिया गया है |
    आभार |

    ReplyDelete
    Replies
    1. शुक्रिया दिलबाग जी

      Delete
  6. बहुत सुन्दर प्रेमाशिक्त अभिव्यक्ति !
    नौ रसों की जिंदगी !

    ReplyDelete
  7. आपका धन्यवाद

    ReplyDelete
  8. प्रेम का एहसास लिए भावपूर्ण ...

    ReplyDelete
  9. बहुत सुन्दर प्रस्तुति।

    ReplyDelete
    Replies
    1. आपका धन्यवाद प्रतिभा जी

      Delete
  10. मजबूत साथ हो जिंदगी का प्यार भर सफर आसान बन जाता है
    प्यार के रंग में रंगी बहुत बढ़िया बानगी...

    ReplyDelete